सेंट्रल सेकेट्रेट एनजी एम्प्लॉइजेज यूनियन ने सरकार के खिलाफ मोर्चा खोला

Central Secretariat Hindi Parishad NG Employees Union opened a front against the government

Central Secretariat Hindi Parishad NG Employees Union opened a front against the government

सेंट्रल सेकेट्रेट ने सरकार के खिलाफ मोर्चा खोला, कैडर रिव्यू कमेटी की रिपोर्ट जारी करने की मांग, नई दिल्ली कैडर रिव्यू कमेटी की रिपोर्ट जारी नहीं होने पर केन्द्रीय सचिवालय के एमटीएस, सीएससीएस व सीएसएस कर्मचारियों में भारी रोष व्याप्त है। शुक्रवार को उद्वोग भवन स्थित कार्यालय में सेंट्रल सेकेट्रेट एनजी एम्प्लॉइजेज यूनियन तथा समान विचार वाली अन्य एसोशिएसन की संयुक्त आम सभा में अपनी मांगों को लेकर सरकार के खिलाफ रोष जताया।

यूनियन के पदाधिकारियों का कहना था कि केन्द्रीय सचिवालय के कर्मचारियों की सेवा शर्तों में सुधार के लिए केन्द्र सरकार ने देश की आजादी के बाद 27 अक्टूबर 2022 को पहली बार सभी श्रेणियों के साथ साथ निचले स्तर के कर्मचारियों एमटीएस और सीएससीएस के कल्याण के लिए पृथक कैडर रिव्यू कमेटी का गठन किया था। सेंट्रल सेकेट्रेट एनजी एम्प्लॉइजेज यूनियन सरकार के इस कार्य के साथ साथ हजारों कर्मचारियों की पदोन्नति पर आभार जताती हैं।

केन्द्रीय सचिवालय के कर्मचारियों के कल्याण के लिए और केन्द्र सरकार के कार्यों में ओर अधिक कार्यकुशलता लाने के लिए विभिन्न मंत्रालयों, विभागों ने कार्मिक विभाग को सुझाव दिया कि एमटीएस, सीएससीएस, सीएसएस के कर्मचारियोंं की वर्तमान संख्या काफी कम है। यथा जेएसए के 3600 पद, एसएसए (60:40 के अनुपात) के 2400 पद, एएसओ के 1200 पद, एसओ के 450 पद, अवर सचिव के 150 पद, उप सचिव और निदेशक के लगभग 300 पद। यह संख्या ज्यादा भी हो सकती है।

सेंट्रल सेकेट्रेट एनजी एम्प्लॉइजेज यूनियन ने सरकार के समक्ष मांग रखी है कि 2002 से सचिवालयों में जेएसएसए की भर्ती नहीं हुई है। वर्तमान में सचिवालय में लगभग 10500 डीईओ कान्ट्रेक्ट पर विगत 19 साल से काम कर रहे हैं, जिनसे जेएसए का काम लिया जा रहा है। अर्थात सचिवालय में इतने जेएसए पदों की आवश्यकता हो सकती है। दूसरी तरफ हजारों एमटीएस कर्मचारी 30 से 35 साल की सरकारी सेवा के पश्चात बिना किसी प्रमोशन के सेवानिवृत हो गए हैं और भारी संख्या में प्रत्येक माह सेवानिवृत हो रहे हैं।

इस अल्प आय कर्मचारियों की व्यापक पैमाने पर पदोन्नति केवल जेएसए के पद सृजन करके की जा सकती है। इससे जेएसए के पद पर कार्यरत कर्मचारियों के पदोन्नति के रास्ते खुलेंगे। थर्ड कैडर रिव्यू कमेटी ने अपनी रिपोर्ट में कहा था कि जेएसए के 200 पद प्रत्येक वर्ष भरे जाएं किन्तु आज तक यह पद नहीं भरे गए हैं। कर्मचारियों में इसे लेकर संशय व भय व्यरप्त है कि कहीं पहले की तरह जेएसए के पद न भरकर उनके भविष्य को तो नहीं उजाड दिया जाएगा।

यूनियन के उपअध्यक्ष अजय कपूर व सहायक महासचिव सुनील कुमार पटेल ने बताया कि इसके साथ अन्य श्रेणियों के कर्मचारियों के कल्याण के लिए मांग की जाती है कि कैडर रिव्यू कमेटी रिपोर्ट पर एसएसए के 3600 नए पद सृजन कर जारी व लागू किए जाएं। एमटीएस से जेएसए में पदोन्नत होने पर 2 वेतन वृद्धि दी जाए। सेवाकाल शर्तों यानी रेसीडेंसी अवधि में छूट दी जाए। हाल ही में पदोन्नत हुए कर्मचारियों का वेतनमान उनके कनिष्ठ साथियों अर्थात जो वर्तमान में अपने वरिष्ठ साथियों से ज्यादा वेतन ले रहे हैं, के समान किया जाए। कैडर रिव्यू रिपोर्ट जारी कर एसएसयए के 2400 पद सजृन किए जाएंं।